हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय ने शिमला जिले के चमियाना अस्पताल के उपयोग से संबंधित मुद्दे पर स्वतः संज्ञान लिया है। न्यायालय ने मुख्य सचिव को अस्पताल के भविष्य पर चर्चा करने के लिए 11 नवंबर, 2024 को सभी हितधारकों की बैठक बुलाने का निर्देश दिया है।
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश तरलोक सिंह चौहान और न्यायमूर्ति सत्येन वैद्य की खंडपीठ ने कहा, “हमारा यह मानना है कि हिमाचल प्रदेश के शिमला जिले के चमियाना स्थित अस्पताल की उपयोगिता और कार्यप्रणाली का प्रश्न किसी एक व्यक्ति या व्यक्तियों के समूह के विवेक और विवेक पर नहीं छोड़ा जा सकता तथा चमियाना स्थित अस्पताल का सर्वोत्तम उपयोग कैसे किया जा सकता है, इस बारे में निर्णय लेने में सभी हितधारकों को शामिल किया जाना आवश्यक है।”
अदालत ने कहा, ‘‘उपर्युक्त तथ्यों और परिस्थितियों को देखते हुए हम हिमाचल प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव को सभी हितधारकों की बैठक बुलाने का निर्देश देना उचित समझते हैं।’’
अदालत का हस्तक्षेप अस्पताल की वर्तमान स्थिति और गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने की इसकी क्षमता के बारे में चिंताओं के जवाब में आया है। प्रमुख हितधारकों को एक साथ लाकर, अदालत का उद्देश्य एक व्यापक और सूचित निर्णय लेने की प्रक्रिया सुनिश्चित करना है।
हिमाचल हाई कोर्ट ने परिस्थितियों के दृष्टिगत सरकार के मुख्य सचिव को सभी हितधारकों की एक बैठक बुलाने का निर्देश जारी किया है। बैठक के विवरण 13 नवंबर, 2024 को आगे के विचार के लिए न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किए जाएंगे। इस मामले पर न्यायालय के निर्णय का क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवा के बुनियादी ढांचे पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ेगा।