ND: जैसा की हम सभी 73 दिनों से किसान आंदोलन लगातार तेज़ी पकड़ रहा हैं। गणतंत्र दिवस पर लाल किले पर हुई हिंसा के बाद तो मामला और गहन होता जा रहा है। इसी कड़ी में आज किसान देशव्यापी चक्का जाम कर रहे है। इस आंदोलन में हो रहे आज के चक्का जाम को विपक्षी पार्टियां पूरा समर्थन दे रहीं हैं। जबकि चक्का जाम का असर केवल राजधानी दिल्ली में ही है। प्रदर्शनकारी किसानों का कहना है कि, उत्तर प्रदेश व उत्तराखंड में आज यानी शनिवार को चक्का जाम नहीं होगा। किसान देश के अन्य हिस्सों में शांतिपूर्ण तरीके से तीन घंटे के लिए राष्ट्रीय एवं राज्य राजमार्गों को बाधित करेंगे।
संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा कि ‘चक्का जाम’ के दौरान एंबुलेंस और स्कूल बस जैसी आवश्यक सेवाओं को नहीं रोका जाएगा। ‘चक्का जाम’ शनिवार को दोपहर 12 बजे से तीन बजे तक किये जाने का प्रस्ताव है। भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत ने कहा कि शनिवार को उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में चक्का जाम नहीं होगा, लेकिन इन दोनों ही राज्यों के किसान किसी भी टाइम दिल्ली आ सकतें हैं।
आपको बतादें की गणतंत्र दिवस को किए गए ट्रैक्टर मार्च के बाद यह किसानों की ओर से किया जाने वाला पहला बड़ा इवेंट है। दरअसल, दिल्ली में हुए ट्रैक्टर मार्च के दौरान दिल्ली पुलिस के साथ किसानों की झड़प देखने को भी मिली थी, लेकिन किसान संगठनों ने वादा किया है कि शनिवार को होने वाला चक्का जाम पूरी तरह से शांतिपूर्ण रहेगा। इसके मद्देनजर दिल्ली और उसके आसपास दिल्ली पुलिस ने सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है। इतना ही नहीं, दिल्ली की सीमाओं से लगे राज्य हरियाणा, उत्तर प्रदेश आदि राज्यों ने भी सुरक्षा बढ़ा दी है।