भारत में कोरोनावायरस की दूसरी लहर खतरनाक होती जा रही है। हरदिन कोरोना से मरने वालों की संख्या बढ़ती जा रही हैं। कोरोना से हुई मौतों के कारण शमशानों में शवों की लाइन लगी है। लोग अंतिम संस्कारों के लिए परेशान हैं। कोरोना वायरस की वर्तमान स्थिति मानसिक रुप से काफी चिंतक विषय है । ऐसे दुख की घड़ी में कुछ लोग फरिश्ता बनकर भी सामने आये और लोगों की मदद की। अविश्वास और सद्भावना की कई कहानियाँ हैं, जिन्होंने आशा को जीवित रखा है। इस अच्छाई के साथ-साथ कुछ ऐसे भी लोगों के चेहरे सामने आये जिन्होंने महामारी में लोगों के साथ ग़लत फायदा उठाया जा रहा है।
कोरोना काल में एक ग़लत शर्मनाक घटना भागलपुर से है जहा एक महिला ने कथित तौर पर अपने कोरोना वायरस से पीड़ित पति को ज़िंदा रखने के लिए में लगभग एक महीने तक संघर्ष किया। उनके पति की इसी महीने पटना के एक निजी अस्पताल में कोरोना से जंग के बाद मौत हो गयी। महिला ने अपने पति की मौत के लिए अस्पताल के कर्मचारियों को जिम्मेदार माना है।