नई दिल्ली : अरब से आयात कम करने के भारत की योजना से नाखुश होकर सऊदी अरब ने मई से एशियाई बाज़ार के लिए अपने कच्चे तेल की कीमत बढ़ा दी है. यह कीमत अप्रैल महीने की तुलना मे 0.4 डॉलर प्रति बैरल अधिक है. वहीं, अमेरिका के लिए 0.1 डॉलर प्रति बैरल और यूरोपीय बाजारों के लिए 0.2 डॉलर प्रति बैरल से कम कर दिया है. इस वजह से आशंका यह जाहिर की जा रही है कि आने वाले दिनों में देश में पेट्रोल-डीजल के दामों में इजाफा हो सकता है.
गौरतलब है कि अरब और भारत के बीच बढ़ते तनाव के चलते सरकार ने सार्वजनिक उपक्रम वाली पेट्रोलियम कंपनियों से उत्पादन बढ़ाने के लिए कहा था. जैसा कि ईंधन की कीमतों में वृद्धि दर्ज की गई, इससे आंशिक रूप से उच्च टैक्स से मदद मिली है. पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि उन्होंने अप्रैल 2020 में खरीददारों की मांग के बीच खरीदारों और विक्रेताओं के बीच एक समझ बनाने के लिए एक ग्रुप बनाया है.पिछले दिनों भारत के पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने सऊदी अरब के तेल मंत्री अब्दुल अज़ीज़ बिन सलमान अल सऊद के उस बयान पर आपत्ति जताई थी, जिसमें उन्होंने भारत के कच्चे तेल के दाम को कम करने की अपील पर कहा था कि भारत अपने उस स्ट्रैटेजिक तेल रिज़र्व का इस्तेमाल करे, जो उसने पिछले साल तेल के गिरती कीमत के बीच खरीद कर जमा किया था.