251 करोड़ बैंक बैंलेंस और 950 करोड़ की बैंक गारंटी, मनी लांड्रिंग में फंसी चीनी कंपनी वीवो को दिल्ली HC ने क्या कहा –

251 करोड़ बैंक बैंलेंस और 950 करोड़ की बैंक गारंटी, मनी लांड्रिंग में फंसी चीनी कंपनी वीवो को दिल्ली HC ने क्या कहा –

फर्म वीवो इंडिया ने टर्नओवर का आधा हिस्‍सा 8 बिलियन डॉलर यानी कि लगभग 62,476 करोड़ रुपए चीन के मूल वीवो कंपनी को भेजा दिया था।

दिल्ली पुलिस की एफआई आर के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में विवो डिस्ट्रीब्यूटर कंपनी के कई चीनी नागरिक शेयरहोल्डर बने हुए थे। इन चीनी नागरिकों ने अपनी असली पहचना छुपाते हुए फर्जी दस्तावेजों के आधार पर काम किया था।

प्रवर्तन निदेशालय ने दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच में मामला दर्ज करवाए जाने के बाद केस को संज्ञान में लेते हुए मनी लांड्रिंग की जांच करने का कदम उठाया था।

दिल्ली हाईकोर्ट ने चीनी मोबाइल निर्माता कंपनी से मनी लान्ड्रिंग मामले में 950 करोड़ रुपये की बैंक गारंटी देने के बाद ही बैंक खाते को संचालित करने की इजाजत दी है। इसके लिए दिल्ली हाईकोर्ट ने प्रवतर्तन निदेशालय को नोटिस जारी किया है कि वो वीवो मोबाइल कंपनी के बैंक खाते को फ्रीज करने को चुनौती देने वाली याचिका पर जवाब देने को कहा है।

दिल्ली उच्च न्यायालय ने 950 करोड़ रुपये की गारंटी दे और बची हुई 250 करोड़ की राशि सहित बैंक खाते को संचालित करने की इजाजत दे दी।

दरअसल, प्रवर्तन निदेशालय ने दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच में मामला दर्ज करवाए जाने के बाद केस को संज्ञान में लेते हुए मनी लांड्रिंग की जांच करने का कदम उठाया था। दिल्ली पुलिस की एफआई आर के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में विवो डिस्ट्रीब्यूटर कंपनी के कई चीनी नागरिक शेयरहोल्डर बने हुए थे। इन चीनी नागरिकों ने अपनी असली पहचना छुपाते हुए फर्जी दस्तावेजों के आधार पर काम किया था।

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देश के कई राज्यों में फैला है नेटवर्क-

जहाँ इस मामले के संज्ञान में आने के बाद प्रवर्तन निदेशालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने इस बात का दावा किया है कि मामले की शुरुआती जांच में यह स्पष्ट हो गया कि यह फर्जीवाड़ा सिर्फ जम्मू-कश्मीर में ही नहीं बल्कि देश के अन्य राज्यों में भी इस कंपनी ने किया है। अधिकारी के मुताबिक फर्जी नामों पर बनी फर्जी कंपनियां बनाने का काम विवो के पूर्व निदेशक ने किया था।

विवो इंडिया ने 8 बिलियन डॉलर चीन भेज दिया था-

इसके पहले प्रवर्तन निदेशलय की जांच में इस बात का खुलासा हुआ था कि चीनी मोबाइल निर्माता फर्म वीवो इंडिया ने टर्नओवर का आधा हिस्‍सा 8 बिलियन डॉलर यानी कि लगभग 62,476 करोड़ रुपए चीन के मूल वीवो कंपनी को भेजा दिया था। भारत में टैक्‍स से भुगतान करने से बचने के लिए वीवो कंपनी ने ऐसा किया। ईडी ने वीवो से जुड़ी 23 कंपनियों के 48 जगहों पर छापेमारी की गई थी।

119 बैंक खातों की 465 करोड़ की धनराशि पिछले सप्ताह जब्त की गई थी-

मिडिया की एक रिपोर्ट के अनुसार, प्रवर्तन निदेशालय ने पिछले सप्ताह बताया था कि विभिन्न संस्थाओं की ओर से 119 बैंक खातों से ​​465 करोड़ की धनराशि को जब्‍त किया गया, जिसमें 73 लाख रुपए नकद और 2 किलोग्राम सोने की छड़ें जब्त की गई थीं। ईडी के मुताबिक, वीवो मोबाइल इंडिया और इससे जुड़ी 23 कंपनियां के 48 स्‍थानों पर 5 जुलाई के बाद से अबतक छापेमारी हो चुकी है।

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