आय से अधिक संपत्ति मामले में घिरे कर्नाटक के उप मुख्यमंत्री डीके शिवकुमार की जांच पर कर्नाटक सरकार की जांच की सहमति वापस लेने के खिलाफ सीबीआई ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। सीबीआई ने कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका दायर की है, जिसमें उपमुख्यमंत्री के खिलाफ सीबीआई जांच के लिए कर्नाटक सरकार की सहमति वापस लेने को चुनौती दी गई है।
कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार से जुड़े मामले में आज सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी किया। बता दें कि राज्य सरकार ने सीबीआई जांच के लिए दी गई सहमति वापस ले ली है। जांच की सहमति वापस लेने से असंतुष्ट सीबीआई ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की।
न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां की पीठ ने राज्य सरकार और डीके शिवकुमार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
ज्ञात हो की यह मामला आय से अधिक संपत्ति से जुड़ा है। बता दें कि साल 2019 में तत्कालीन भाजपा सरकार ने डीके शिवकुमार के खिलाफ सीबीआई जांच को मंजूरी दी थी। जिसे शिवकुमार ने चुनौती देते हुए उच्च न्यायालय की एकल न्यायाधीश पीठ के समक्ष रिट याचिका दायर की। 2023 को एकल न्यायाधीश ने याचिका खारिज कर दी, जिसके बाद शिवकुमार ने उच्च न्यायालय की खंडपीठ के समक्ष अपील दायर की। सरकार बदलने के बाद नवंबर, 2023 में कांग्रेस की सिद्धारमैया सरकार ने कहा कि डीके शिवकुमार के खिलाफ सीबीआई जांच की सहमति का फैसला कानून के मुताबिक गलत है। बता दें कि इस मामले में याचिकाकर्ता भाजपा विधायक बसनगौड़ा पाटिल यतनाल हैं।
याचिकाकर्ता भाजपा विधायक बसनगौड़ा पाटिल यतनाल ने सिद्धारमैया सरकार के फैसले को सुप्रीम कोर्ट से पहले कर्नाटक हाईकोर्ट में भी चुनौती दी थी। हालांकि, उच्च न्यायालय ने याचिका को सुनवाई योग्य नहीं माना।
अब सुप्रीम कोर्ट की खंडपीठ ने कर्नाटक सरकार और डीके शिवकुमार से जवाब मांगा है। अदालत इससे पहले 17 सितंबर को भी इस मामले में नोटिस जारी कर चुकी है।
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