Category: jplive24
Allahabad HC ने जमानत देने के लिए आरोपी के साथ मिलवाई पीड़िता की कुंडली, SC ने अनोखे फैसले पर स्वतः सज्ञान लेते हुए लगाई रोक
सुप्रीम कोर्ट में शनिवार को छुट्टी थी लेकिन यह मामला इतना महत्वपूर्ण था कि इसकी सुनवाई के लिए विशेष पीठ बैठी। सुप्रीम कोर्ट ने शनिवार को इस मामले पर स्वत: संज्ञान लेकर विशेष सुनवाई की और हाई कोर्ट के आदेश पर [more…]
तो क्या जिनके पास पैसे नहीं, उन्हें नहीं मिलेगी जमानत ? सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट को फटकार लगते हुए पूछा, जानें पूरा मामला
अदालतों को जमानत पर फैसला इस आधार पर लेना होता है कि अपराध किस तरह का है, उसकी गंभीरता क्या है, न कि आरोपी की पैसे देने की क्षमता से। झारखंड हाई कोर्ट को फटकार लगाते हुए सुप्रीम कोर्ट ने ये [more…]
EWS Reservation: हाईकोर्ट का स्कूलों को आदेश, निजी स्कूल ‘पड़ोस’ के मानदंड पर बच्चों के एडमिशन को नहीं मना कर सकते हैं
उच्च न्यायालय ने हाल ही में कहा था कि आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों (ईडब्ल्यूएस)/वंचित समूह (डीजी) श्रेणियों के तहत प्रवेश के मामलों में, निजी स्कूल पड़ोस के मानदंडों का सख्ती से पालन करने पर जोर नहीं दे सकते हैं। न्यायमूर्ति [more…]
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्राथमिकी रद्द करने की याचिका सिर्फ इसलिए खारिज कर दी कि आरोपी केयरटेकर है
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि सिर्फ इसलिए प्राथमिकी रद्द नहीं की जा सकती कि आरोपी अस्पताल का केयरटेकर है और उसने पीड़िता का ऑपरेशन नहीं किया । न्यायमूर्ति अंजनी कुमार मिश्रा व न्यायमूर्ति नंद प्रभा शुक्ला [more…]
उच्च न्यायालय देवता का संरक्षक है, मंदिर संपत्ति के नुकसान की सच्चाई में जा सकता है: केरल उच्च न्यायालय ने दोहराया
केरल उच्च न्यायालय ने दोहराया है कि वह मंदिरों की संपत्तियों के नुकसान की शिकायतों की सच्चाई की जांच कर सकता है। न्यायालय ने कहा कि देवता के संरक्षक होने के अलावा, उच्च न्यायालय के पास अंतर्निहित क्षेत्राधिकार है और माता-पिता [more…]
मुसलमान पर्सनल लॉ के तहत बच्चे को गोद नहीं ले सकते, किशोर न्याय अधिनियम के तहत कड़ी प्रक्रिया का पालन करने की आवश्यकता: उड़ीसा हाईकोर्ट
उड़ीसा हाईकोर्ट ने कहा है कि मुस्लिम पर्सनल लॉ के तहत मुसलमान बच्चे को गोद नहीं ले सकते। इसमें कहा गया है कि वे किशोर न्याय (बच्चों की देखभाल और संरक्षण) अधिनियम यानी जेजे अधिनियम के तहत एक कड़ी प्रक्रिया का [more…]
पर्याप्त कारण के बिना जीवनसाथी को लंबे समय तक यौन संबंध बनाने की अनुमति नहीं देना मानसिक क्रूरता है: इलाहाबाद हाईकोर्ट
इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने एक पुरुष को तलाक की डिक्री देते हुए कहा है कि पर्याप्त कारण के बिना पति या पत्नी को लंबे समय तक यौन संबंध बनाने की अनुमति न देना मानसिक क्रूरता है। न्यायमूर्ति सुनीत कुमार और न्यायमूर्ति [more…]
Supreme Court का HC के निर्णय में दखल से इंकार DDA के अवैध निर्माण गिराने पर मानवीय आधार पर लगाई 7 दिन की रोक
शीर्ष अदालत ने अवैध निर्माण ढहाने के दिल्ली उच्च न्यायलय के निर्णय में दखल देने से किया इन्कार करते हुए कहा कि मानवीय आधार पर लोगों को जगह खाली करने के लिए सात दिन का समय दिया जा रहा है। सुप्रीम [more…]
दिल्ली हाईकोर्ट ने वैवाहिक मामलों में मध्यस्थता समझौते का मसौदा तैयार करने के लिए दिशा निर्देश जारी किये-
दिल्ली हाई कोर्ट ने यह भी निर्देशित किया कि आईपीसी IPC की धारा 498ए से जुड़े मामलों में, समझौते में उन सभी पक्षों के नाम शामिल होने चाहिए, जिनका नाम एफआईआर FIR में दर्ज किया गया है। वैवाहिक मामलों में न्यायालयों [more…]
SMS के द्वारा भेजी गई गिरफ्तारी की सूचना उचित नहीं: उच्च न्यायालय ने बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका की अनुमति दी
हिरासत में लिए गए व्यक्ति का अधिकार खंड (5) में निहित एक संवैधानिक सुरक्षा है एक महिला, जिसके पति को हिरासत में लिया गया था, की बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका को स्वीकार करते हुए, मद्रास उच्च न्यायालय ने हाल ही में कहा [more…]